नाबालिक किशोरी से दुष्कर्म के आरोपी को 20 वर्ष की सश्रम कारावास की सजा



फास्ट ट्रैक कोर्ट के विशेष न्यायाधीश यशवंत सारथी का निर्णय

शक्ति ( समाचार) फास्ट ट्रैक कोर्ट शक्ति के विशेष न्यायाधीश यशवंत कुमार सारथी ने 13 वर्ष 8 माह की नाबालिग बालिका के साथ दुष्कर्म के मामले में अभियुक्त के विरुद्ध आरोपित अपराध दोष सिद्ध पाए जाने पर 21 वर्षीय आरोपी को 20 वर्ष की सश्रम कारावास की सजा एवं अर्थदंड से दंडित करने का निर्णय पारित किया है। विशेष लोक अभियोजक राकेश महंत ने बताया कि 13 वर्ष 8 माह की नाबालिक अभियोक्त्री को अभियुक्त प्रेम करता हूं ,शादी करूंगा बोलता था, जिसे नाबालिग बालिका मना की थी। किंतु अभियुक्त नहीं मानता था और हमेशा उसके घर के पास आकर उससे प्यार करता हूं , शादी कर अपने साथ रखूंगा बोलता था । दिनांक 13 फरवरी 2020 को रात में जब नाबालिग किशोरी अपने घर के अंदर अपने कमरे में अकेले सोई थी, उसके मम्मी पापा अलग कमरे में सोए थे उसी रात करीबन 12:30 बजे अभियुक्त जबरदस्ती घर अंदर नाबालिग बालिका के कमरे में आकर उसे बहला-फुसलाकर शादी करने का विश्वास देकर उसकी मर्जी के खिलाफ उसके साथ जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाया और किसी को बताओगे तो जान से मार दूंगा बोला जिससे डर भय के कारण वह अपने माता-पिता को कुछ नहीं बताई । तब से अभियुक्त कई बार उसके घर में आकर जबरदस्ती उसके साथ शारीरिक संबंध बनाया था ।दिनांक 10 अगस्त 2020 को करीब रात 11:30 बजे भी अभियुक्त नाबालिग बालिका के घर अंदर जबरदस्ती आकर उसके साथ शारीरिक संबंध बनाया । अभियुक्त द्वारा कई बार शारीरिक संबंध बनाने के कारण नाबालिग बालिका 2 माह की गर्भवती हो गई, तब हिम्मत करके घटना की बात अपनी मम्मी पापा को बतायी । तत्पश्चात अपने माता पिता के साथ पुलिस थाना जाकर अभियुक्त के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करायी । थाना द्वारा अभियुक्त के खिलाफ त्वरित अपराध पंजीबद्ध किया गया एवं अभियुक्त को गिरफ्तार कर न्यायिक न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा गया तथा विवेचना उपरांत भारतीय दंड संहिता की धारा 376 की उप धारा – 2 (ढ ), 450, 506 भाग – 2 एवं लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 की धारा 6 ,5 (ठ ) के तहत अभियोग पत्र विशेष न्यायालय फास्ट ट्रेक कोर्ट (पोक्सो एक्ट) शक्ति में पेश किया । प्रकरण में अभियोजन द्वारा सभी महत्वपूर्ण 21 साक्षी को न्यायालय में परीक्षण कराया गया। विशेष न्यायालय शक्ति ने उभय पक्षों को पर्याप्त समय अपने पक्ष रखने के लिए देने के पश्चात तथा अभियोजन एवं अभियुक्त पक्ष के अंतिम तर्क श्रवण करने तथा संपूर्ण विचारण पूर्ण होने के पश्चात न्यायालय द्वारा निर्णय पारित किया गया। अभियोजन द्वारा अभियुक्त के विरुद्ध आरोपित अपराध संदेह से परे प्रमाणित कर दिए जाने से अभियुक्त गणेश राम सिदार पिता लखनलाल सिदार उम्र 21 वर्ष थाना डभरा जिला जांजगीर चांपा वर्तमान जिला शक्ति को विशेष न्यायाधीश यशवंत कुमार सारथी द्वारा सिद्ध दोष पाए जाने पर दोष सिद्ध घोषित किया गया है ।अभियुक्त को भारतीय दंड संहिता की धारा 450 के अपराध के लिए 5 वर्ष का सश्रम कारावास एवं ₹1,000 का अर्थदंड तथा लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम की धारा 6 सहपठित धारा 5 (ठ) के अपराध के लिए 20 वर्ष का सश्रम कारावास एवं ₹ 5,000 के अर्थदंड से दंडित किया गया हैअभियोजन की ओर से पैरवी विशेष लोक अभियोजक राकेश महंत ने किया ।